मुख्तार अंसारी की मौत पर ‘अखिलेश यादव’ और ‘मायावती’ का रिएक्शन आया
मुख्तार अंसारी (Mukhtar Ansari) की मौत पर सपा के अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) और बसपा प्रमुख मायावती (Mayawati) ने अपनी प्रतिक्रियाएं दी और संदेह व्यक्त किया।
मुख्तार अंसारी (Mukhtar Ansari) की गुरुवार रात मौत हो गई। बांदा जेल में मुख्तार को दिल का दौरा पड़ा, जिसके बाद अस्पताल में इलाज के दौरान बाहुबली नेता की मृत्यु हो गई। इसके बाद ही पूरे यूपी में धारा 144 लगा दी गई है। पर इस बीच प्रदेश की राजनीति भी गरमा गई। सपा प्रमुख अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) और बसपा की मुखिया मायावती (Mayawati) ने भी अपनी प्रतिक्रियाएं दी।
दोनों ने ही मुख्तार अंसारी की मौत पर संदेह व्यक्त किया और जांच की मांग की। 5 बार के विधायक रहे मुख्तार अंसारी करीब 18 साल 6 माह तक जेल में रहना पड़ा। और सलाखों के पीछे ही 28 मार्च की रात मुख्तार की मौत हो गई।
Akhilesh Yadav Mukhtar Ansari Death
समाजवादी पार्टी (सपा) के प्रमुख और यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने मुख्तार अंसारी की अचानक हुई मौत पर कहा, हर हाल में और हर स्थान पर किसी के जीवन की रक्षा करना सरकार का सबसे पहला दायित्व और कर्तव्य होता है। सरकारों पर निम्नलिखित हालातों में से किसी भी हालात में, किसी बंधक या क़ैदी की मृत्यु होना, न्यायिक प्रक्रिया से लोगों का विश्वास उठा देगा:
- थाने में बंद रहने के दौरान
- जेल के अंदर आपसी झगड़े में
- जेल के अंदर बीमार होने पर
- न्यायालय ले जाते समय
- अस्पताल ले जाते समय
- अस्पताल में इलाज के दौरान
- झूठी मुठभेड़ दिखाकर
- झूठी आत्महत्या दिखाकर
- किसी दुर्घटना में हताहत दिखाकर
अखिलेश ने कहा कि उपरोक्त सभी संदिग्ध मामलों में सर्वोच्च न्यायालय के न्यायाधीश की निगरानी में जांच होनी चाहिए। सरकार न्यायिक प्रक्रिया को दरकिनार कर जिस तरह दूसरे रास्ते अपनाती है वो पूरी तरह गैर कानूनी हैं। अपने पोस्ट में उन्होंने लिखा:
“जो हुकूमत जिंदगी की हिफ़ाज़त न कर पाये उसे सत्ता में बने रहने का कोई हक़ नहीं। उप्र ‘सरकारी अराजकता’ के सबसे बुरे दौर से गुजर रहा है। ये यूपी में ‘क़ानून-व्यवस्था का शून्यकाल है।”
Mukhtar Ansari Death: मायावती ने क्या कहा?
मुख्तार अंसारी की जेल में रहने के दौरान हुई मौत पर बहुजन समाज पार्टी (बसपा) प्रमुख मायावती ने भी प्रश्न खड़े किए। मायावती के मुताबिक, मुख़्तार अंसारी की जेल में हुई मौत को लेकर उनके परिवार द्वारा जो लगातार आशंकायें व गंभीर आरोप लगाए गए हैं,उनकी उच्च-स्तरीय जाँच जरूरी, ताकि उनकी मौत के सही तथ्य सामने आ सकें। उन्होंने कहा;
“उनके परिवार का दुःखी होना स्वाभाविक। कुदरत उन्हें इस दुःख को सहन करने की शक्ति दे।”